बाड़मेर मालपुरा माता-पिता की मौत, भाई लड़ रहा है जिंदगी की जंग: 7 बेटियों, 1 बेटे के सिर से उठा माता-पिता का साया, गांव में चारों तरफ चीखे
यह सात बेटियां है इनके सिर से माता-पिता का साया उठ गया।
बाड़मेर जिले के सिणधरी कस्बे के मुख्य बाजार में हुए दर्दनाक हादसे में सात बेटियों और एक बेटे के सिर से माता-पिता का साया उठ गया। वहीं 7 बेटियों का इकलौता भाई जिंदगी और मौत के बीच जंग लड़ रहा है। सोमवार देर शाम माता-पिता के शव गांव पहुंचने पर पूरे गांव में चारो तरफ रोने की चीखें ही सुनाई देने लगी। दरअसल माता-पिता, 4 साल का भाई अपनी बड़ी साथ में पिता के चचेरे भाई व उनकी पत्नी भी शामिल थे। हादसे में माता-पिता व चाची की मौत हो गई। 4 साल के बेटे को नहीं पता कि माता-पिता इस दुनिया में नहीं है और मां के पास जाने की जिद कर रहा है। वहीं, लोगों ने परिवार की मदद करने के लिए सोशल मीडिया पर मुहिम छेड़ दी है।
4 साल के बेटे मां के पास जाने की जिद कर रहा है। लेकिन इसको नहीं पता कि मां अब कभी नहीं आएंगी।
पुलिस के मुताबिक मालपुरा गांव निवासी खेताराम (50) पुत्र राणाराम अपनी पत्नी कोकू देवी (43), पुत्र जसराज (4), चेचेरे भाई बादराराम (50) पुत्र वीराराम और उसकी पत्नी अणसीदेवी (45) के साथ सिणधरी के पास के गांव में बड़ी लड़की के लिए रिश्ते की बात करने के लिए जा रहे थे। सिणधरी कस्बे में उतरकर बस स्टैंड की तरफ जाने लगे तभी पीछे से अनियंत्रित बोलेरो गाड़ी ने पांचों सहित यशवंत कुमार (25) पुत्र गौतम निवासी उदयपुर कूचल दिया। खड़ी कैंपर ट्रॉले को 20-25 फीट तक घसीटते हुए ले गया। गाड़ी कैंपर ट्रॉले से टकराकर रुक गई। मौके पर अणसी देवी और कोकूदेवी की मौके पर ही मौत हो गई। वहीं, कोकूदेवी के पति खेताराम के सिर में चोट लगने से गंभीर घायल हो गया। नाहटा हॉस्पिटल बालोतरा में खेताराम ने दम तोड़ दिया। वहीं 4 साल के बच्चे जसराज, बादराराम और एलडीसी यशवंत कुमार को प्राथमिक उपचार के बाद जोधपुर रेफर कर दिया। वहां पर तीनों का इलाज चल रहा है। दो महिलाओं के शव को सिणधरी हॉस्पिटल व खेताराम के शव को बालोतरा नाहटा हॉस्पिटल रखवाया गया था। मृतक के परिजनों ने बताया रविवार को खेताराम उसकी पत्नी कोकूदेवी व बेटा जसराज बड़ी बेटी के रिश्ते की बात करने के लिए रवाना हुए थे। पीछे घर में खेताराम की बूढी अंधी मां व 7 बेटियां केसी (19), ओमी (17), पेमी (15), रेमंती (14), भाटू (10), भावना ( 8 ), ज्योती (6) ही थी। हादसे में खेताराम व केकूदेवी की मौत हो गई। सोमवार को बेटियों व बुढ़ी मां को कुछ नहीं बताया। देर शाम को जब दोनों के शव गांव पहुंचे, तब सातों बेटियों के रो-रो कर बुरे हाल हो रहे थे। दो तीन बेटियां रो-रोक कर बेहोश हो गई।
चार साल के बेटे को नहीं पता माता-पिता छोड़कर चले गए
जोधपुर के हॉस्पिटल में जिंदगी व मौत के बीच जंग लड़ रहे बेटे को नहीं पता कि दो दिन पहले तक अंगुली पकड़कर चलने वाले माता-पिता इस दुनिया में अब नहीं रहे। हॉस्पिटल में बार-बार मां के पास जाने की जिद कर रहा है। रोते हुए कह रहा है मां के पास जाना है। माता-पिता को खोया, गांव में छाया मातम भयावह हादसे में एक परिवार की खुशिया छीन ली। खेताराम व कोकूदेवी की हादसे में जान चली गई। खेताराम के 7 बेटियां है, इन बेटियों का इकलौता बेटा जसरात है। अब माता-पिता दुनिया छोड़ चले गए। बेटियों को सोमवार को दिन भर किसी ने कुछ नहीं बताया। जब देर शाम माता-पिता के शव पहुंचे तो गांव में मातम छा गया। चारों तरफ रोने- चीखने का कोहराम मचा हुआ था।
सात बेटियों पर इकलौता भाई ने, नहीं है कोई परवरिश करने वाला
मृतक का साला बताता है कि मृतक खेताराम के परिवार एक बूढ़ी अंधी मां7 बेटियों और एक चार साल का बेटा है। अब इन बच्चों की परवरिश करने वाला भी कोई नहीं है। न जाने अब इन बच्चों की आगे जिंदगी कैसे गुजरेगी। सरकार व प्रशासन से मांग है कि इन बच्चों की मदद करें।
पुलिस ने ड्राइवर को लिया हिरासत में
सिणधरी पुलिस के मुताबिक हादसे के बाद बोलेरो गाड़ी के ड्राइवर पोकराराम पुत्र भीखाराम निवासी डाबली सायला जालौर को हिरासत में ले लिया है। हादसे के वक्त बोलेरो की स्पीड 60-80 की स्पीड बताई जा रही है। वहीं गाड़ी को भी जब्त कर लिया है।
सिणधरी में दिया था धरना, एसडीएम के आश्वासन के माने परिजन
हादसे के बाद गुस्साए लोगों व परिजनों ने सोमवार को सिणधरी मोर्चरी के बाहर धरने पर बैठ गए। दिन भर चले गतिरोध के बाद उपखंड अधिकारी वीरमाराम ने धरणार्थियों से वार्ता की, वहीं प्रशासन हर संभव मदद का भरोसा दिलाया। इसके बाद परिजनों व ग्रामीणों ने धरना उठाया। एसडीएम को ज्ञापन सौंपकर मैन मार्केट से सर्किल तक फुटपाथ पर किए गए अतिक्रमण को हटाने व तेज रफ्तार चल रहे वाहनों पर कार्रवाई करने की मांग की।
सोशल मीडिया पर छेड़ी मुहिम
हादसे के दूसरे दिन सोशल मीडिया पर गांव व सिणधरी कस्बे के लोगों ने परिवार की मदद के लिा मुहिम छेड़ दी और परिवार की मदद के लिए रुपए इकट्ठे कर रहे है।